बारिश पर शायरी
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मैं बारिश से उतना ही प्यार करता हूं,
जितना मैं तुमसे प्यार करता हूं,
मैं जिस तरह से प्यार करता हूं,
वह हमेशा मुझसे, मेरी आत्मा से बात करता है, -
बरसात की भीगी रातों में,
फिर कोई सुहानी याद आई,
कुछ अपना ज़माना याद आया,
कुछ उनकी जवानी याद आई।, -
पहला प्यार बारिश की तरह,
हमेशा ताज़ा रहता है।, -
बारिश का दीवाना बादल क्या जाने,
किस राह से बचना है,
किस छत को भिगोना है।, -
जब भी बारिश होती है,
मैं आपको महसूस करता हूं।,
बारिश पर शायरी
कहीं फिसल ना जाओ ज़रा संभल के रहना, 


मौसम बारिश का भी है और मोहब्बत का भी।,
मौसम बारिश का भी है और मोहब्बत का भी।,
सभी को खुशियां चाहिए और, 
दुःख किसी को भी नही चाहिए,

लेकिन थोड़ी सी भी वर्षा के बिना,


आपको इंद्रधनुष नही मिल सकता।,
दुःख किसी को भी नही चाहिए,
लेकिन थोड़ी सी भी वर्षा के बिना,
आपको इंद्रधनुष नही मिल सकता।,
बारिश और किसी की याद, 


ज्यादा आ जाए तो सैलाब आता है,


एक में बूंदों का दूसरों में आसुंओं का,
ज्यादा आ जाए तो सैलाब आता है,
एक में बूंदों का दूसरों में आसुंओं का,
ए बादल इतना बरस की नफ़रतें धुल जायें, 


इंसानियत तरस गयी है प्यार पाने के लिये।,

इंसानियत तरस गयी है प्यार पाने के लिये।,
मैं बारिश से उतना ही प्यार करता हूं, 


जितना मैं तुमसे प्यार करता हूं,

मैं जिस तरह से प्यार करता हूं,

वह हमेशा मुझसे, मेरी आत्मा से बात करता है,
जितना मैं तुमसे प्यार करता हूं,
मैं जिस तरह से प्यार करता हूं,
वह हमेशा मुझसे, मेरी आत्मा से बात करता है,
बरसात की भीगी रातों में, 
फिर कोई सुहानी याद आई,
कुछ अपना ज़माना याद आया,
कुछ उनकी जवानी याद आई।,
फिर कोई सुहानी याद आई,
कुछ अपना ज़माना याद आया,
कुछ उनकी जवानी याद आई।,
पहला प्यार बारिश की तरह, 


हमेशा ताज़ा रहता है।,
हमेशा ताज़ा रहता है।,
बारिश का दीवाना बादल क्या जाने, 
किस राह से बचना है,

किस छत को भिगोना है।,

किस राह से बचना है,
किस छत को भिगोना है।,
जब भी बारिश होती है, 

मैं आपको महसूस करता हूं।,

मैं आपको महसूस करता हूं।,
सुबह का मौसम बारिश का साथ है, 


हवा ठंडी जिससे ताजगी का एहसास है,
बना के रखिए चाय और पकौड़े,


बस हम आपके घर के थोड़े से पास हैं।,
हवा ठंडी जिससे ताजगी का एहसास है,
बना के रखिए चाय और पकौड़े,
बस हम आपके घर के थोड़े से पास हैं।,
आज बादल काले घने हैं, 
आज चाँद पे लाखों पहरे हैं,
कुछ टुकड़े तुम्हारी यादों के,

बड़ी देर से दिल में ठहरे हैं,

आज चाँद पे लाखों पहरे हैं,
कुछ टुकड़े तुम्हारी यादों के,
बड़ी देर से दिल में ठहरे हैं,
अब बारिश ही जाने की उसकी बून्द, 
ख़ुशी के आंसू होते है या गम के।,
ख़ुशी के आंसू होते है या गम के।,
ज़रा ठहरो बारिश थम जाये, 
तो फिर चले जाना,
किसी का तुझ को छू लेना,

मुझे अच्छा नहीं लगता,

तो फिर चले जाना,
किसी का तुझ को छू लेना,
मुझे अच्छा नहीं लगता,
मासूम मोहब्बत का बस इतना फसाना है, 


कागज़ की हवेली है बारिश का ज़माना है।,
कागज़ की हवेली है बारिश का ज़माना है।,
कभी जी भर के बरसना, 

कभी बूँद बूँद के लिए तरसना,


ऐ बारिश तेरी यादें मेरे यार जैसी हैं।,
कभी बूँद बूँद के लिए तरसना,
ऐ बारिश तेरी यादें मेरे यार जैसी हैं।,
मोहब्बत तो वो बारिश है जिससे, 

छूने की चाहत मैं हथेलियां तो गीली,


हो जाती है पर हाथ खा ली ही रह जाते है,

छूने की चाहत मैं हथेलियां तो गीली,
हो जाती है पर हाथ खा ली ही रह जाते है,
दूर तक छाए थे बादल ओर कहीं साया न था, 


इस तरह बरसात का मौसम कभी आया न था,
इस तरह बरसात का मौसम कभी आया न था,
मुझे मार ही ना डाले इन बादलों की साज़िश, 


ये जब से बरस रहे हैं तुम याद आ रहे हो,
ये जब से बरस रहे हैं तुम याद आ रहे हो,
अगर मेरी चाहतों के मुताबिक जमाने कि हर बात होती, 

तो मेरे साथ तुम होती ओर सारी रात बरसात होती।,
तो मेरे साथ तुम होती ओर सारी रात बरसात होती।,
अभी तो खुश्क़ है मौसम बारिश हो तो सोचेंगे, 

हमें अपने अरमानों को,किस मिट्टी में बोना है,

हमें अपने अरमानों को,किस मिट्टी में बोना है,
सुना है बारिश में दुआ कुबूल होती है, 
अगर इजाजत हो तो मांग लू तुम्हे।,
अगर इजाजत हो तो मांग लू तुम्हे।,
जब भी कड़कती हैं बिजली, 
मेरा रोम रोम याद करता हैं तुझे,

कैसे लिपट जाती थी तू मुझसे,
जब बादल फटता था जोरो से।,
मेरा रोम रोम याद करता हैं तुझे,
कैसे लिपट जाती थी तू मुझसे,
जब बादल फटता था जोरो से।,
सीने में समुन्दर के लावे सा सुलगता हूँ, 

मैं तेरी इनायत की बारिश को तरसता हूँ।,

मैं तेरी इनायत की बारिश को तरसता हूँ।,
कभी ख़ुशी कभी गम, 


कभी विस्की कभी रम,
ये हैं मॉडर्न बारिश की सरगम।,

कभी विस्की कभी रम,
ये हैं मॉडर्न बारिश की सरगम।,
चाहा था कि भीगें तेरी बारिश में हम, 

मगर अपने ही सुलगते हुए ख्वाबों में जले हैं।,
मगर अपने ही सुलगते हुए ख्वाबों में जले हैं।,
बारिश की बुंदे भी क्या वफा निभाती हैं, 
दूर आसमा से निकल कर जमी में मिल जाती हैं।,

दूर आसमा से निकल कर जमी में मिल जाती हैं।,
स्याही का सा एक दाग है दिल में, 


जो धुलता नहीं अश्कों की बरसात में भी।,

जो धुलता नहीं अश्कों की बरसात में भी।,
हमारे शहर आ जाओ, 
सदा बरसात रहती है,
कभी बादल बरसते है,

कभी आँखे बरसती है।,
सदा बरसात रहती है,
कभी बादल बरसते है,
कभी आँखे बरसती है।,
पहली बारिश का नशा ही, 

कुछ अलग होता है,


पलको को छूते ही,
सीधा दिल पे असर होता है।,

कुछ अलग होता है,
पलको को छूते ही,
सीधा दिल पे असर होता है।,
दुनिया की सबसे अच्छी खुशबू तब आती है, 
जब बारिश की बूँदें मिटटी को स्पर्श करती है।,
जब बारिश की बूँदें मिटटी को स्पर्श करती है।,
ऐ बादल इतना न बरस की, 

नफ़रतें धूल जाएँ,

इंसानियत तरस गयी है,

प्यार पाने के लिए।,
नफ़रतें धूल जाएँ,
इंसानियत तरस गयी है,
प्यार पाने के लिए।,
ये मौसम बारिश का अब पसंद नहीं मुझे, 

आंसूं ही काफी है मेरे भीग जाने के लिए।,
आंसूं ही काफी है मेरे भीग जाने के लिए।,
आज भीगी हैं पलकें किसी की याद में, 
आसमां भी सिमट गया अपने आप में,
ऐसे गिरी है आंसू की बूंदे ज़मीन पर।,
आसमां भी सिमट गया अपने आप में,
ऐसे गिरी है आंसू की बूंदे ज़मीन पर।,
तेरे प्रेम की बारिश हो, 


मैं जलमग्न हो जाऊं,
तुम घटा बन चली जाओ,

मैं बादल बन जाऊं।,
मैं जलमग्न हो जाऊं,
तुम घटा बन चली जाओ,
मैं बादल बन जाऊं।,
जाने क्यों बारिश जब जब भी होती है, 
अन्दर तेरी याद चुप चुप कर रोती है।,
अन्दर तेरी याद चुप चुप कर रोती है।,
तुम एक बार बाहर जाकर बारिश देखो तो सही, 

तुम्हारे आने की खुशी में कहीं हर बूंद आइना न बन गया हो।,
तुम्हारे आने की खुशी में कहीं हर बूंद आइना न बन गया हो।,
बारिश के पानी को अपने हाथों में समेट लो, 


जितना आप समेट पाये उतना आप हमें चाहते है,


और जितना न समेट पाए उतना हम आप को चाहते है…,
जितना आप समेट पाये उतना आप हमें चाहते है,
और जितना न समेट पाए उतना हम आप को चाहते है…,
एक हम हैं जो इश्क़ कि बारिश करते है, 

एक वह हैं जो भीगने को तैयार ही नहीं।,
एक वह हैं जो भीगने को तैयार ही नहीं।,
मौसम-ए-इश्क़ है तू, 


एक कहानी बन के आ,
मेरे रूह को भिगो दे जो,


तू वो पानी बन के आ!,
एक कहानी बन के आ,
मेरे रूह को भिगो दे जो,
तू वो पानी बन के आ!,
जब भी होगी पहली बारिश, 

तुमको सामने पायेंगे,

वो बूंदों से भरा चेहरा,


तुम्हारा हम देख तो पायेंगे।,
तुमको सामने पायेंगे,
वो बूंदों से भरा चेहरा,
तुम्हारा हम देख तो पायेंगे।,
अगर भीगने का इतना ही शौक है, बारिश मे तो देखो ना मेरी आँखों मे, 

बारिश तो हर एक के लिए होती है, लेकिन ये आँखें सिर्फ तुम्हारे लिए बरसती है ।,
बारिश तो हर एक के लिए होती है, लेकिन ये आँखें सिर्फ तुम्हारे लिए बरसती है ।,
खुद को इतना न बचाया कर, 
बारिशें हुआ करे तो भीग जाया कर।,

बारिशें हुआ करे तो भीग जाया कर।,
कभी बेपनाह बरसी कभी थमी सी है, 
न जानें क्यों ये बारिश भी कुछ हम सी है।,
न जानें क्यों ये बारिश भी कुछ हम सी है।,
बादलों को आता देख के मुस्कुरा लिया होगा, 


कुछ न कुछ मस्ती में गुनगुना लिया होगा,
ऊपर वाले का शुक्र अदा किया बारिश के होने से,

के इस बहाने तुमने नहा लिया होगा।,
कुछ न कुछ मस्ती में गुनगुना लिया होगा,
ऊपर वाले का शुक्र अदा किया बारिश के होने से,
के इस बहाने तुमने नहा लिया होगा।,
आज आयी बारिश तो याद आया वो जमाना, 
वो तेरा छत पे रहना ओर मेरा सड़कों पे नहाना।,
वो तेरा छत पे रहना ओर मेरा सड़कों पे नहाना।,
सुनो सावन चल रहा है, 
इजाजत हो तो भोले से,
मांग लू तुमको अगले जन्म के लिए।,

इजाजत हो तो भोले से,
मांग लू तुमको अगले जन्म के लिए।,
सावन के महीने में, 

भीगे थे हम साथ में,


अब बिन मौसम भीग,

रहे हैं तेरी याद में।,
भीगे थे हम साथ में,
अब बिन मौसम भीग,
रहे हैं तेरी याद में।,
कोई तो बारिश ऐसी हो, 
जो तेरे साथ बरसे,

तनहा तो मेरी आँखें,

हर रोज़ बरसती है।,

जो तेरे साथ बरसे,
तनहा तो मेरी आँखें,
हर रोज़ बरसती है।,
पूछे कोई उससे के दुख है या खुशी है, 
जाने क्यों बूंद कोई बारिश कि पत्तो के रुकी है।,
जाने क्यों बूंद कोई बारिश कि पत्तो के रुकी है।,
अबके बारिश में तो ये कार-ए-ज़ियाँ होना ही था, 


अपनी कच्ची बस्तियों को बे-निशाँ होना ही था।,

अपनी कच्ची बस्तियों को बे-निशाँ होना ही था।,
रहमत बरस रही है या गुनाह किसी के धो रहा है, 
ये बरस रहे है बादल या फिर खुदा रो रहा है।,

ये बरस रहे है बादल या फिर खुदा रो रहा है।,
कुछ तो चाहत होगी इन बारिश की बूंदो की, 
वरना कौन गिरता है इस ज़मीन पर आसमान तक पहुँचने के बाद !,
वरना कौन गिरता है इस ज़मीन पर आसमान तक पहुँचने के बाद !,
कितना कुछ धुल गया आज इस बारिश में, 
हाँ तुम्हारी यादों के पन्ने भी धुल गए इस बारिश में।,

हाँ तुम्हारी यादों के पन्ने भी धुल गए इस बारिश में।,
बारिश में आज भीग जाने दो, 

बूंदों को आज बरस जाने दो,


न रोको यूँ खुद को आज,

भीग जाने दो इस दिल को आज।,

बूंदों को आज बरस जाने दो,
न रोको यूँ खुद को आज,
भीग जाने दो इस दिल को आज।,
आज इतना ही धुआं है कि मैं जल न सकूं, 

आज इतना ही दर्द है कि मैं रो न सकूं,

अबके बरसात में इक बूंद भी हासिल न हुआ,
इतना प्यासा हूं कि पानी को भी छू न सकूं।,
आज इतना ही दर्द है कि मैं रो न सकूं,
अबके बरसात में इक बूंद भी हासिल न हुआ,
इतना प्यासा हूं कि पानी को भी छू न सकूं।,
बे मौसम बरसात से, 


अंदाज़ा लगता हूँ मैं,


फिर किसी मासूम का दिल,

टूटा है मौसम-ए-बहार में।,

अंदाज़ा लगता हूँ मैं,
फिर किसी मासूम का दिल,
टूटा है मौसम-ए-बहार में।,
हवा संग बह चला जाएगा ये बादल भी, 

मगर ये मेरे शहर आया है अब अदब से भीगना होगा !,
मगर ये मेरे शहर आया है अब अदब से भीगना होगा !,
ठंडक मिलती है आपके खयालों में डूबकर, 
ऐसी ठंडक कहा मिलेगी बारिश में भीगकर।,
ऐसी ठंडक कहा मिलेगी बारिश में भीगकर।,
गुल तेरा रंग चुरा लाए हैं गुलज़ारों में, 
जल रहा हूँ भरी बरसात की बौछारो में।,
जल रहा हूँ भरी बरसात की बौछारो में।,
पहले बारिश होती थी तो याद आते थे , 


अब याद आते हो तो बारिश होती है,
अब याद आते हो तो बारिश होती है,
कहीं फिसल न जाऊं तेरे ख्यालों में चलते चलते, 
अपनी यादों को रोको मेरे शहर में बारिश हो रही है।,
अपनी यादों को रोको मेरे शहर में बारिश हो रही है।,
मेरे घर की मुफलिसी को देख कर, 

बदनसीबी सर पटकती रह गई,


और एक दिन की मुख़्तसर बारिश के बाद,
छत कई दिन तक टपकती रही रह गई।,
बदनसीबी सर पटकती रह गई,
और एक दिन की मुख़्तसर बारिश के बाद,
छत कई दिन तक टपकती रही रह गई।,
उनकी यादों की बूँदें बरसें जो फिर से, 

ज़िन्दगी की मिटटी महकने लगी है।,
ज़िन्दगी की मिटटी महकने लगी है।,
मुझे तुम्हारी बारिश की तरह जरूरत थी, 
लेकिन तुम गिरने से डरते थे।,

लेकिन तुम गिरने से डरते थे।,
सिर्फ कुछ लोग ही बारिश को, 

अंदर से महसूस कर पाते हैं,
बाकी लोग बस भीग जाते हैं।,
अंदर से महसूस कर पाते हैं,
बाकी लोग बस भीग जाते हैं।,
काश कोई इस तरह भी वाकिफ हो मेरी जिंदगी से, 


कि मैं बारिश में भी रोऊँ और वो मेरे आँसू पढ़ ले।,
कि मैं बारिश में भी रोऊँ और वो मेरे आँसू पढ़ ले।,
जो कहता है कि धूप खुशियाँ लाती है, 


वह कभी बारिश में नहीं नाचा ही नहीं,

वह कभी बारिश में नहीं नाचा ही नहीं,
अब के सावन में ये शरारत मेरे साथ हुई, 
मेरा घर छोड़ के पूरे शहर में बरसात हुई,
मेरा घर छोड़ के पूरे शहर में बरसात हुई,
बारिश का ये मौसम कुछ याद दिलाता हैं, 
किसी के साथ होने का एहसास दिलाता हैं,


फ़िज़ा भी सर्द हैं यादें भी ताज़ा हैं,
ये मौसम किसी का प्यार दिल में जगाता है,
किसी के साथ होने का एहसास दिलाता हैं,
फ़िज़ा भी सर्द हैं यादें भी ताज़ा हैं,
ये मौसम किसी का प्यार दिल में जगाता है,
मेरे शहर का मौसम कितना खुश गंवार हो गया, 

लगा जैसे आसमां को जमीन से प्यार हो गया,

लगा जैसे आसमां को जमीन से प्यार हो गया,
तेरी गलियें में कदम नही रखेंगे हम आज के बाद, 


क्योकि कीचड़ हो गया हैं बरसात के बाद,

क्योकि कीचड़ हो गया हैं बरसात के बाद,
जब-जब बादल बरसता है, 


सनम से मिलने को दिल तरसता है,

सनम से मिलने को दिल तरसता है,
आज बारिश में तुम्हारे संग नहाना हैं, 

सपना ये मेरा कितना सुहाना हैं,

बारिश के कतरे जो तेरे होंठों पे गिरे,
उन कतरों को अपने होंटों से उठाना हैं,
सपना ये मेरा कितना सुहाना हैं,
बारिश के कतरे जो तेरे होंठों पे गिरे,
उन कतरों को अपने होंटों से उठाना हैं,
जीवन तूफ़ान के गुज़र जाने का इंतज़ार करना नही है, 
यह तो बारिश में नृत्य करना सीखने के समान है।,
यह तो बारिश में नृत्य करना सीखने के समान है।,